भले ही आपको सुनकर हैरानी हो लेकिन कूल लगने वाली जींस गर्मियों में आपके लिए परेशानी का सबब बन सकती है। गर्मियों में स्किन टाइट डेनिम जीन्स से आपको स्किन से जुड़ी समस्या हो सकती है। ऐसे में गर्मियों के दौरान टेंपरेचर बढ़ने पर जींस पहनने से बचना चाहिए। कई स्किन स्पेशलिस्ट इस बात की सलाह दे रहे हैं।
राम मनोहर लोहिया अस्पताल दिल्ली के डॉ. कबीर सरदाना ने कहा कि डेनिम सर्दियों और ठंडे मौसम वाले देशों के लिए आदर्श हैं परंतु गर्म मौसम में वे गर्मी को रोक लेते हैं। इससे स्किन संबंधी कई परेशानी पैदा हो जाती है, जैसे जलन, एलर्जी रैशेज, कॉन्टैक्ट डर्मेटाइटिस और दाद जैसे फंगल संक्रमण शामिल हैं। डेनिम के कपड़े हवा के आने-जाने को रोकते हैं, जिससे पसीना सूख नहीं पाता है। उन्होंने कहा कि जींस गर्मी और पसीने को रोक लेता है। जिससे फंगल होने खतरा पैदा हो जाता है।
डॉक्टर ने कहा कि यह भी बताया कि सूती कपड़ों के विपरीत, डेनिम कपड़ों पर फंगस के बीजाणु धोने से भी आसानी से नहीं मरते। उन्होंने आगे कहा कि नब्बे प्रतिशत दाद के मामले आमतौर पर जांघों और कमर में होते हैं। जो टाइट कपड़े पहनने के कारण होता है। उन्होंने कहा कि लोग जींस को बार-बार धोते भी नहीं हैं। अगर जींस को नियमित रूप से धोया जाए और उल्टा सिखाया जाए तो कुछ हद तक इस समस्या से निजात पा सकते हैं
श्री बालाजी एक्शन मेडिकल इंस्टीट्यूट के सीनियर एडवाइजर, स्किन स्पेशलिस्ट डॉ. विजय सिंघल ने कहा कि डेनिम जींस सहित कपड़ों की निर्माण प्रक्रिया में इस्तेमाल होने वाले डाई और कैमिव एलर्जी और अन्य त्वचा संबंधी समस्याएं पैदा सकते हैं।
डॉ सिंगल का कहना है कि कपड़ों से होने वाला डर्मेटाइटिस एक प्रमुख चिंता का विषय है। यह एक प्रकार का एलर्जिक कॉन्टैक्ट डर्मेटाइटिस है। जब त्वचा उन कपड़ों या कपड़ों के संपर्क में आती है जिनमें जलन पैदा करने वाले या एलर्जेनिक पदार्थ होते हैं तो यह परेशानी पैदा करते हैं। डॉ. सिंघल ने कहा कि “हम तंग कपड़ों से बचने की सलाह देते हैं। टाइट कपड़ों से हवा पार नहीं होती है इसलिए पसीना नहीं सूख पा है। इससे फंगस पैदा होते हैं जिससे त्वचा पर निशान, खुजली और चकत्ते हो सकते हैं।
आकाश हेल्थकेयर की कंसल्टेंट डर्मेटोलॉजिस्ट डॉ. पूजा चोपड़ा ने कहा कि जब ह्यूमिडिटी अधिक होती है तो उन महीनों के दौरान टाइट- फिटिंग और स्किनी जींस से बचना चाहिए। उन्होंने कहा कि जांघ क्षेत्र में बाल कूप संक्रमित हो सकते हैं। यह फॉलिकुलिटिस और बालतोड़ का कारण बन सकते हैं। उन्होंने कहा कि अगर आपको यदि जींस पहनना भी है तो सुनिश्चित करें कि यह ज्यादा घंटों तक ना पहनी जाए।