देहरादून।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने देश का सख्त नकल विरोधी कानून तो लागू कर दिया है, लेकिन नकल माफिया पर नकेल लगाने पर वह नाकाम सिद्ध हुए। कभी नकल माफिया हाकम सिहं की मां को हैलीकॉप्टर की सैर करवाने वाले पूर्व मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत का खासम खास हाकम सिंह ने शिक्षित बेरोजगारों का शोषण किया।
अब प्रतियोगी परीक्षाओं में लगातार हो रही नकल के चलते उत्तराखंड में देश का पहला सख्त नकल विरोधी कानून भी बना है, लेकिन उसके बाद भी बेरोजगारों के हितों पर डाका डालने वाले नकल माफियाओं को कानून का डर नहीं है। इन परीक्षाओं मे नकल व धोखाधडी पर प्रभावी अंकुश लगाते हुए नकल माफियाओं के खिलाफ चलाये जा रहे अभियान के तहत SOG देहरादून और मेरठ STF की संयुक्त टीम ने ऑनलाइन इंजीनियरिंग इंट्रेंस परीक्षा में नकल कराने वाले गिरोह का भण्डाफोड़ कर गैंग के 02 सदस्यों को गिरफ्तार किया हैं। देहरादून के रायपुर क्षेत्र में स्थित परीक्षा केन्द्र में छापेमारी कर गिरफ्तार किये गए नकल माफियाओं के कब्जे से 01 लैपटॉप,03 मोबाइल फोन व परीक्षार्थियों के एडमिट कार्ड सहित अन्य दस्तावेज बरामद हुए हैं। नकल अभियुक्तों द्वारा परीक्षा केन्द्र में पूर्व से ही सर्वर रूम के माध्यम से कुछ सिस्टमों का एक्सेस लिया गया था। ऐसे में वे लोग सर्वर रूम से ही पेपर सॉल्वर के माध्यम से परीक्षार्थियों के पेपर को ऑनलाइन सॉल्व कर उसे सबमिट करते थे। पुलिस के अनुसार गिरफ्तार अभियुक्तों से पूछताछ में गिरोह के सरगना कुलवीर,जो कि हरियाणा का रहने वाला हैं और बिजनौर निवासी गौरव का नाम प्रकाश में आया है।