देहरादून। एक ओर धामी सरकार जीरो टॉलरेंस की नीति पर कार्य करने के दावे कर रही है, वहीं दूसरी ओर लगातार भाजपा नेताओं का विवादों में नाम आने से विपक्ष द्वारा सरकार को घेरने का मौका मिल रहा है। सतीश नैनवाल और उनके ड्राइवर के पास बनबसा में 40 जिंदा कारतूस मिलने के बाद विधायक प्रमोद नैनवाल और उनके भाई सतीश नैनवाल की एक तस्वीर, जिसमें वह मुख्यमंत्री धामी के साथ मौजूद हैं, सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है। हालांकि भाजपा का तर्क है कि विधायक के भाई से भाजपा का कोई लेना देना नहीं है। लेकिन विपक्ष ने इस मामले को लेकर सरकार की घेराबंदी शुरू कर दी है।
अल्मोड़ा जिले की रानीखेत विधानसभा सीट से भाजपा विधायक प्रमोद नैनवाल के छोटे भाई और भाजपा नेता सतीश नैनवाल आए दिन सरकार की किरकिरी कराने में लगे हैं। शुक्रवार 6 सितंबर की शाम को विधायक प्रमोद नैनवाल के भाई सतीश नैनवाल और उनके ड्राइवर दिनेश चंद्र को एसएसबी ने भारत नेपाल बॉर्डर पर 40 जिंदा कारतूस के साथ पकड़ा था। मामले में बनबसा पुलिस द्वारा दोनों के विरुद्ध आर्म्स एक्ट में मुकदमा दर्ज किया गया है। यह पहला प्रकरण नहीं है कि विधायक प्रमोद नैनवाल के भाई सतीश नैनवाल का नाम विवादों में आया है। इससे पूर्व मे विधायक प्रमोद नैनवाल और उनके छोटे भाई सतीश नैनवाल के खिलाफ हाई कोर्ट के आदेश के बाद उद्यान घोटाले में सीबीआई जांच चल रही है। दूसरे मामले की बात करें तो कुछ दिन पूर्व इनके भाई सतीश नैनवाल ने गांव के ग्राम प्रधान संदीप खुल्वे से सरे- आम मारपीट की। एक अन्य मामले में भी सतीश नैनवाल पूर्व जिला पंचायत सदस्य प्रकाश जोशी से भी हाथापाई का आरोपी है। वर्ष 2017 के विधानसभा चुनाव के दौरान भी सतीश नैनवाल ने सरेआम मारपीट की थी, जो कि मामला अभी तक हाईकोर्ट में चल रहा है।
इतना ही नहीं रानीखेत की एक युवती ने विधायक और उसके भाई पर उनकी जमीन कब्जाने का भी आरोप लगाया है।
वर्ष 2020 में सतीश नैनवाल पर हल्द्वानी के एक पत्रकार पर फायरिंग करने का भी आरोप है।
लगातार बढ़ते प्रकरणों के चलते आए दिन विधायक महोदय और उनका भाई भाजपा सरकार की फजीहत कराने पर तुले हैं।
इतने मामले पहले से चलने के बावजूद भी सतीश नैनवाल का 40 जिंदा कारतूस के साथ गिरफ्तार होना अपने आप में एक बड़ा सवाल खड़ा करता है। क्या आखिर सतीश नैनवाल अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अवैध असलहा की तस्करी में शामिल था! यह खुलासा तो पुलिस जांच के बाद ही होगा।
इस पूरे प्रकरण पर कांग्रेस प्रवक्ता गरिमा मेहरा दसौनी और पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने प्रेस वार्ता की।
कांग्रेस प्रवक्ता गरिमा ने आरोप लगाया कि वर्तमान में प्रदेश के भीतर जितने भी अपराध हो रहे हैं, उनमें 90% भाजपा नेताओं से जुड़े हैं। तब चाहे वह महिला सुरक्षा को लेकर हो या फिर भर्ती घोटाले के संबंध में। सभी जगह भाजपा नेताओं का नाम आ रहा है। अन्य लोगों पर गैंगस्टर और देशद्रोह की धाराएं लगाने में जल्दबाजी करने वाली भाजपा सरकार अपने विधायक और उसके भाई पर क्या यह कार्रवाई करेगी या नहीं!वहीं हरीश रावत ने आरोप लगाया कि यह राज्य की अंतरिक्ष सुरक्षा से जुड़ा मामला है, नेपाल में माओवाद के इतिहास को देखते हुए यह घटना चिंताजनक है। विधायक द्वारा इस घटना को दबाने के लिए देहरादून से दिल्ली तक प्रयास किया जा रहे हैं। इस विषय को लेकर हम महामहिम राज्यपाल के पास जाएंगे।