बिहार विधानसभा चुनाव 2025 का पहले चरण की गुरूवार को वोटिंग समाप्त हो गई। इस चरण में 16 मंत्रियों की किस्मत ईवीएम में बंद हो गई हैं। हर सीट पर समीकरण जातीय, राजनीतिक और व्यक्तिगत प्रतिष्ठा से जुड़े हैं।
आइए जानते हैं किन-किन सीटों पर सत्तारूढ़ दल के मंत्रियों को कड़ी चुनौती मिल रही है
सोनवर्षा (सहरसा)
जदयू के रत्नेश सदा के सामने कांग्रेस की सरिता देवी मैदान में हैं। जनसुराज ने इस आरक्षित सीट पर रिटायर्ड टीचर सत्येन्द्र हाजरा को उतारा है। त्रिकोणीय मुकाबला यहां वोटों का गणित बिगाड़ सकता है।
दरभंगा सदर
भाजपा के मंत्री संजय सरावगी को इस बार भी कड़ी चुनौती मिल रही है। उनके सामने वीआईपी के उमेश सहनी, जनसुराज के आरके मिश्रा और प्लुरल्स पार्टी की पुष्पम प्रिया चौधरी हैं। यहां अंदरूनी असंतोष भाजपा के लिए मुश्किलें बढ़ा सकता है।
जाले (दरभंगा)
भाजपा के जिवेश कुमार के खिलाफ कांग्रेस के ऋषि मिश्रा मैदान में हैं। पिछली बार कांग्रेस के उम्मीदवार रहे मशकूर अहमद रहमानी इस बार निर्दलीय हैं। मुस्लिम वोटरों का रुख तय करेगा कि बाजी किसके हाथ जाएगी।
कुढ़नी (मुजफ्फरपुर)
भाजपा के केदार प्रसाद गुप्ता के सामने राजद के बबलू कुशवाहा और जनसुराज के मोहम्मद अली इरफान हैं। तीनों उम्मीदवार अलग-अलग वर्गों पर पकड़ बनाए हुए हैं, जिससे मुकाबला त्रिकोणीय हो गया है।
साहेबगंज (मुजफ्फरपुर)
भाजपा के राजू कुमार सिंह को राजद के पृथ्वी राय से सीधी टक्कर मिल रही है। जनसुराज ने यहां राजपूत समुदाय से हरिकिशोर सिंह को उतारकर जातीय समीकरण को और पेचीदा बना दिया है।
सीवान
भाजपा के मंगल पांडेय के सामने राजद के वरिष्ठ नेता अवध बिहारी चौधरी हैं। जनसुराज ने मुस्लिम समाज के इंतक़ाब अहमद को उतारा है, जिससे वोटों का बिखराव तय माना जा रहा है।
लखीसराय
यहां भाजपा के दिग्गज विजय कुमार सिन्हा का मुकाबला कांग्रेस के अमरेश कुमार अनीष से है। जनसुराज ने भूमिहार समाज से शिक्षाविद् सूरज कुमार को टिकट देकर चुनाव को दिलचस्प बना दिया है।
तारापुर (मुंगेर)
भाजपा अध्यक्ष सम्राट चौधरी के खिलाफ राजद ने अरुण साह को उतारा है। जनसुराज ने डॉक्टर संतोष सिंह को मैदान में उतारकर भाजपा के कोर वोट बैंक पर सेंध लगाने की कोशिश की है।
भोरे (गोपालगंज)
जदयू के सुनील कुमार के सामने भाकपा माले के धनंजय पासवान हैं। वहीं जनसुराज की प्रीति किन्नर इस सीट को चर्चा में ले आई हैं।
अमनौर (सारण)
भाजपा के कृष्ण कुमार मंटू से राजद के सुनील राय टक्कर ले रहे हैं। जनसुराज ने भूमिहार वर्ग से राहुल सिंह को मैदान में उतारा है, जिससे त्रिकोणीय स्थिति बनी हुई है।
कल्याणपुर (समस्तीपुर)
जदयू के महेश्वर हजारी के सामने भाकपा माले के रंजीत राम और जनसुराज के राम बालक पासवान हैं। तीनों दल अलग-अलग वर्गों को साधने में जुटे हैं।
सरायरंजन (समस्तीपुर)
विजय कुमार चौधरी (जदयू) को राजद के अरविंद सहनी चुनौती दे रहे हैं। ब्राह्मण वोटरों को आकर्षित करने के लिए जनसुराज ने सज्जन मिश्रा को मैदान में उतारा है।
बछवाड़ा (बेगूसराय)
भाजपा के सुरेंद्र मेहता के सामने भाकपा के अवधेश राय हैं, जबकि जनसुराज ने भूमिहार समाज के रामोद कुंवर को प्रत्याशी बनाया है।
बिहारशरीफ (नालंदा)
भाजपा के डॉ. सुनील कुमार को भाकपा के शिव कुमार यादव और जनसुराज के दिनेश कुमार से टक्कर मिल रही है।
नालंदा
जदयू के श्रवण कुमार के सामने कांग्रेस के कौशलेंद्र कुमार (छोटे मुखिया) हैं। जनसुराज ने कुमारी पूनम सिन्हा को मैदान में उतारकर महिला उम्मीदवारों में उत्साह भर दिया है।
बांकीपुर (पटना)
भाजपा के नितिन नवीन का सामना राजद की रेखा गुप्ता से है, जबकि जनसुराज ने भूमिहार वर्ग की वंदना कुमारी को टिकट देकर भाजपा के वोट बैंक पर सीधा वार किया है।
पहले चरण की वोटिंग के साथ ही बिहार की सियासत ने रफ्तार पकड़ ली है। सत्ता के 16 चेहरों की परीक्षा आज ईवीएम में बंद हो चुकी है। अब 2025 के नतीजे ही बताएंगे, जनता के मन में कौन बसता है, और कौन जनता की उम्मीदों से बाहर हो गया।








