सुप्रीम कोर्ट द्वारा मंगलवार 26 सितंबर को भारतीय सेना और भारतीय वायु सेना दोनों को उस पूर्व वायु सेना अधिकारी को मुआवजे के तौर पर एक करोड़ 54 लाख रुपए का भुगतान करने के निर्देश दिए हैं, जिनका साल 2002 में आर्मी अस्पताल में ब्लड चढ़ाने के बाद HIV पॉजिटिव हो गया था।आर्मी हॉस्पिटल में चिकित्सकीय लापरवाही की वजह से HIV पॉजिटिव हुए एयरफोर्स के पूर्व अधिकारी को सुप्रीम कोर्ट से बड़ी राहत मिली है।
न्यायमूर्ति रवींद्र भट और दीपांकर दत्ता की पीठ ने माना कि सेना और वायु सेना के चिकित्सकीय लापरवाही के चलते पूर्व अधिकारी ब्लड ट्रांसफ्यूजन के दौरान HIV / AIDS की चपेट में आए थे। सुप्रीम कोर्ट द्वारा ऐसे मामलों के सिलसिले में सरकार,अदालतों, ट्रिब्युनल्स, कमिशंस और क्वैसी ज्यूडिशल बॉडी के लिए एचआईवी अधिनियम, 2017 के तहत कुछ दिशा निर्देश भी जारी किए गए हैं।
सुप्रीम कोर्ट का आदेश:
सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में कहा, कि “अपीलकर्ता उत्तरदाताओं की चिकित्सीय लापरवाही के कारण 1 करोड़ 54 लाख 73 हजार रुपये के मुआवजे का हकदार है। चूंकि पर्सनली किसी को जिम्मेदार नहीं ठहरा सकते हैं। इसलिए भारतीय वायु सेना और भारतीय सेना को इस लापरवाही के लिए संयुक्त रूप से से उत्तरदायी ठहराया गया है। यह राशि भारतीय वायुसेना द्वारा 6 सप्ताह के भीतर भुगतान की जाएगी। भारतीय वायुसेना, सेना से आधी राशि मांगने के लिए स्वतंत्र है। इस रोग से पीड़ित हुए अधिकारी की सभी बकाया राशि का 6 सप्ताह के भीतर भुगतान कर दिया जाए।”
अधिकारी ऑपरेशन पराक्रम का हिस्सा रहे हैं:
जिस पूर्व एयर फोर्स अधिकारी की चिकित्सा में लापरवाही हुई है, वह जम्मू-कश्मीर में ‘ऑपरेशन पराक्रम’ का हिस्सा रहे हैं. उन्होंने आरोप लगाया कि 2002 में एक फील्ड अस्पताल में दूषित रक्त चढ़ाने के कारण उन्हें HIV हो गया था जिसके कारण अब वह एड्स के मरीज बन गए हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि उन्हें सेना के अस्पतालों में चिकित्सा देखभाल से वंचित किया जा रहा है। यहां यह बताते चलें कि भारत ने 13 दिसंबर, 2001 को संसद पर हुए आतंकवादी हमले के मद्देनजर ‘ऑपरेशन पराक्रम शुरू किया था।
कब पता चला HIV का :
पीड़ित पूर्व वायुसेना अधिकारी द्वारा बताया गया कि ऑपरेशन के तहत ड्यूटी के दौरान वह बीमार पड़ गए और उन्हें जुलाई 2002 सैन्य अस्पताल में भर्ती कराया गया। वहां इलाज के दौरान उनके शरीर में एक यूनिट ब्लड चढ़ाया गया था।2014 में वह बीमार पड़ गए और जांच में HIV का पता चला। एक मेडिकल बोर्ड ने माना था कि उनके शरीर में HIV संक्रमण 2002 में एक यूनिट रक्त के ट्रांसफ्यूजन के कारण हुआ है।